अनुशासन पर निबंध (200 शब्दों में)-
अनुशासन में रहकर मनुष्य अपने और समाज के लिए एक अच्छा माहौल बनाता है एक अनुशासन ही है जो मनुष्य को सही पथ पर चलना सिखाता है अच्छाई और बुराई में फर्क बताता है एवं लोगों के प्रति विनम्र भी बनाता है।अनुशासित व्यक्ति अपने से बड़ों और शिक्षकों का कहा मानता है स्वयं को संयमित बनाकर सफलता की ओर बढ़ता चला जाता है।
अनुशासन ही है जो हमें अपने से बड़े हो छोटो का आदर करना सिखाता है। एक अच्छी दिनचर्या की शुरुआत हम सभी अनुशासन में रहकर ही कर सकते हैं सुबह सवेरे उठकर नित्य कर्मों से मुक्त होकर भक्ति व ध्यान करना अच्छा होता है इसके बाद हम अपने दिन की शुरुआत दिन भर में होने वाले कामों को अच्छी तरह से पूरा कर पाते हैं और हमारा ध्यान और एकाग्रता भी काम पर बनी रहती है।समाज में अनुशासन हीन व्यक्ति की कोई भी तारीफ नहीं करता।
सुबह एक अच्छी दिनचर्या की शुरुआत ना करना साफ सफाई का ध्यान ना रखना एवं अपने से बड़ों एवं छोटो का आदर ना करना अनुशासित व्यक्ति की प्रथम निशानियां कही जा सकती हैं ऐसे व्यक्ति अक्सर अपने पथ से भटक जाते हैं एवं अपने आवश्यक कार्यों को भी सही वक्त पर या पूरी सटीकता से करने पर असमर्थ होते हैं।
अनुशासन पर निबंध (1000 शब्दों में)-
प्रस्तावना -
अनुशासन या Deciplin प्रत्येक मनुष्य के जीवन में सफलता की कुंजी की तरह होता है अगर जीवन में सफल होकर आगे बढ़ते रहना है तो जीवन में अनुशासन का होना बहुत आवश्यक होता है।अनुशासन जीवन को एक ठोस आधार प्रदान करता है सफलता की ओर बढ़ने के लिए अग्रसर बनाता है
अनुशासन का अर्थ (Meaning Of Discipline) -
अनु और शासन इन दोनों शब्दों से मिल कर अनुशासन शब्द का निर्माण होता है। जिसमें
अनु शब्द का अर्थ है पालन करना एवं शासन का मतलब है नियम
मनुष्य जाति हमारे समाज का एक अभिन्न अंग है जहां अलग-अलग मनुष्य अपनी अलग अलग आदतों व खूबियों के साथ रहते हैं परंतु सभी मनुष्य अनुशासन का पालन करके ही एक अच्छे समाज का निर्माण करते है। और सामाजिक अनुशासन का एक अच्छा उदाहरण प्रस्तुत करते हैं।
जीवन में अनुशासन का महत्व (Importance Of Decipline)-
हम में से अधिकांशतः लोग अपने अगले दिन की रणनीति या क्रियाकलापों को आज रात ही तय कर लेते होंगे जिससे हमारे कल के पूरे दिन का टाइम मैनेजमेंट सुव्यवस्थित रहे तय समय पर सारे कम किए जा सके।और इस अनुशासन पूर्ण क्रियाकलापों को अपनाकर हम सभी अपने सारे काम पूरी ऊर्जा के साथ कर पाते हैं और सदैव सफलता की ओर आगे बढ़ते हैं।
आमतौर पर यह भी देखा गया है कि अनुशासन पूर्ण दिनचर्या की अपेक्षा अस्त व्यस्त दिनचर्या का पालन करने वाले लोगों में आलस और ऊर्जा की कमी देखी जाती है जबकि अनुशासित दिनचर्या का पालन करने वाले लोग हर समय ऊर्जावान दिखाई पड़ते हैं और अपने समय का सही उपयोग भी करते हैं।
अनुशासित व्यक्ति ज्यादा सफल होते हैं हर एक मनुष्य की अपनी अलग दिनचर्या और अलग-अलग काम होते हैं अनुशासन का अर्थ यह नहीं होता है कि किसी अन्य व्यक्ति द्वारा बताए गए कार्य व दिनचर्या पर अपना जीवन व्यतीत करना बल्कि अपनी आवश्यकता अनुसार अपने जीवन के कार्य और समय को सुव्यवस्थित कर के उनका सही उपयोग करना ही असली अनुशासन कहलाता है।
शिक्षा में अनुशासन का महत्व -
जीवन की शुरुआत होने से लेकर अंत होने तक हमें अनुशासन के नियमों का पालन करना पड़ता है जिस से हमारा जीवन सुखद और सरल बन पाएंकोई भी मनुष्य अनुशासन सीखने की शुरुआत अपने विद्यालय से ही करता है। जहां बच्चों को अनुशासन का महत्व समझाया जाता है हम सभी ने देखा होगा की स्कूल जाने पर पहले प्रार्थना होती है और फिर कक्षाएं शुरू होती हैं प्रत्येक कक्षा 40 मिनट से 1 घंटे तक की हो सकती है और बीच में हमें लंच टाइम भी मिलता है इसके बाद उन्हें कक्षाएं शुरू हो जाती हैं।
हम सभी ने अपने छात्र जीवन में इसी तरह की दिनचर्या का पालन किया होगा यहां तक कि कॉलेज में भी इसी तरह की दिनचर्या का पालन किया जाता है।
शिक्षा में अनुशासन का पालन करना बहुत ही अच्छा होता है शिक्षक द्वारा पढ़ाए गए पाठ अच्छी तरह से अनुशासित होकर पढ़ना चाहिए जिससे हमारा आत्मविश्वास भी बढ़ता है। छात्र जीवन में अनुशासित होना बहुत ही आवश्यक होता है अनुशासित होकर ही व्यक्ति एक सभ्य सफल और अच्छा इंसान बन सकता है।
जो लोग अनुशासन का पालन नहीं करते या अपनी मनमर्जी हर वक्त करते हैं उन्हें अनुशासन हीन कहा जाता है।
व्यक्तिगत और सामाजिक जीवन में अनुशासन का महत्व -
अनुशासन का उपयोग हर जगह जरूरी होता है कई जगह पर हम अनुशासन को दो हिस्सों में बांट कर भी देख सकते हैं जिनमें से पहला व्यक्तिगत जीवन में अनुशासन और दूसरा सामाजिक जीवन में अनुशासन कहलाता है।व्यक्तिगत जीवन में अनुशासन से आशय होता है व्यक्ति अपनी दिनचर्या में होने वाले कार्यों को सुव्यवस्थित रुप से पूरा करें और खुद को ऊर्जावान बनाए रखें सुबह जल्दी उठना नित्य कर्मों को करना ध्यान और योग कर अपनी दिनचर्या को शुरू करना व्यक्तिगत अनुशासन का एक अच्छा उदाहरण माना जा सकता है। वही सामाजिक जीवन में सामाजिक अनुशासन से आशय होता है की हम जिन से भी मिले उनके साथ हमारा व्यवहार अच्छा हो हमें किसी को भी हीनता की नजरों से नहीं देखना चाहिए अपने से बड़ों और छोटे उम्र के लोगो से विनम्र रहना एवं अपने ऑफिस स्कूल और कॉलेज में सफाई वाला, चपरासी आदि लोगो से भी अच्छा व्यवहार रखना एक अच्छे सामाजिक अनुशासन को दर्शाता है।
जीवन में अनुशासन हीनता के नुकसान -
अनुशासनहीनता रखने पर हमें कई तरह से नुकसान झेलने पड़ते हैं अक्सर बनते हुए काम भी बिगड़ जाते हैं और हमारे शरीर में सकारात्मक प्रभाव कम होने लगता है जिससे मन में हीनता घर कर जाती है।मनुष्य जीवन में अनुशासन हीनता कई तरह से देखने को मिलती है जिसमें अस्त व्यस्त दिनचर्या और बेवक्त खाना पीना या सोना आदि मुख्य होता है।
अनुशासन पर दस वाक्य -
- अनुशासन हमारे जीवन को एक सटीक रास्ता प्रदान करता है जिससे हमारा दिमाग और मन अपने कार्यों से भटकता नहीं है।
- प्रत्येक क्षेत्र में अनुशासन की परिभाषा अलग हो सकती है।
- अगर कोई मनुष्य अनुशासित नहीं होता तो वह गैरजिम्मदाराना और अनुशासनहीन कहलाता है।
- हमारे जीवन के हर कार्य में अनुशासन का महत्व होता है जो हमें सही या ग़लत का महत्व बताता है।
- हमें सदैव अनुशासित रहना चाहिए अपने शिक्षक और माता पिता की बात ध्यान पूर्वक सुनना और उसका अनुसरण करना चाहिए।
- अनुशासित व्यक्ति हर जगह सम्मान का पात्र बनता है।
- एक अच्छा अनुशासित मनुष्य सभी जीवों के प्रति विनम्रता का भाव रखता है।
- अनुशासन ही एकमात्र सफलता की कुंजी होती है।
- छात्र जीवन में अनुशासन का पालन करने वाले लोग अपने पूरे जीवन में अनुशासित रहना सीख लेते हैं।
- अनुशासित व्यक्ति अपने साथ साथ पूरे समाज के लिए भी कल्याणकारी सिद्ध होता है।
उपसंहार -
बचपन से बड़े होने तक हम सभी अपने माता पिता और शिक्षक से यह सुनते आ रहे है कि जीवन में सफल होने के लिए हमें अपनी दिनचर्या में अनुशासन रखना चाहिए केवल अनुशासन ही हमें सही पथ पर चलने की प्रेरणा देता है। बदलते समय के साथ बहुत कुछ बदल गया है लेकिन आज भी अनुशासन का महत्व नहीं बदला इसका सबसे अच्छा उदाहरण आज भी हम सभी को पुलिस, सेना, एन सी सी जैसे विभागों में देखने को मिलती है।यह भी पढ़े 👉